पंचमी में कलश चढ़ा सेवक दल ने माता सिंगार के गीत गाया
”संतोष सोनकर की रिपोर्ट”
राजिम। शहर सहित अंचल में रविवार को पंचमी का पर्व धूमधाम के साथ मनाया गया इस मौके पर सुबह से ही श्रद्धालुओं की चहल-पहल मंदिरों के अलावा दुर्गा पंडाल में बढ़ गई थी दोपहर होते तक नारियल धूप अगरबत्ती चढ़ाकर देवी दरबार में पहुंचते रहे पश्चात अपराहन 3 बजे के बाद सेवक दल ने माता सेवा के गीत प्रस्तुत किए इसमें श्रृंगार के गीत गाकर उन्होंने माहौल को भक्तिमय कर दिया। प्रसिद्ध महामाया मंदिर में कलश चढ़ाया गया तथा सिंगार के सामग्री भक्तों द्वारा माता जी के चरणों में समर्पित करते रहे। यहां 1000 से भी ज्यादा ज्योति कलश प्रज्ज्वलित किए गए हैं। यहां से 200 गज की दूरी पर पुरानी हटरी में देवी चंडी करीब 100 साल से भी अधिक समय से शीला रूप में विराजमान है यहां भी ज्योति कलश प्रज्वलित किए गए हैं पंचमी का पर्व धूमधाम से मनाया गया। त्रिवेणी संगम के मध्य कुलेश्वर नाथ महादेव मंदिर के द्वितीय गर्भगृह में मां दुर्गा विराजमान है यहां भक्तों ने ज्योति कलश प्रज्ज्वलित किए हैं। चौबे बांधा सड़क मार्ग का पर सत्ती देवी विराजमान है। यहां भी भक्तों ने बड़ी संख्या में ज्योति कलश प्रचलित किए हैं प्रतिदिन जस सेवा का गायन हो रहा है। सिंधौरी के शीतला मंदिर में 24 ज्योति कलश प्रचलित है। पंडा मनोहर ध्रुव, सोमन निषाद ने बताया कि भक्तगण सुबह से ही माता के दर्शन के लिए उपस्थित होते हैं आज पंचमी के अवसर पर कलश चढ़ाया गया। यहां प्रतिदिन लोग माता की भक्ति में डूबे हुए हैं। इसी तरह से पूरे अंचल में मां दुर्गा पंडाल के अलावा शीतला मंदिर के साथ ही अन्य देवी मंदिरों में भी भाव भक्ति का माहौल बना हुआ है। लोग अपने अनुसार देवी की भक्ति में डूब गए हैं। प्रतिदिन भोग लगाई जा रही है। आरती में बड़ी संख्या में श्रद्धालु जुट रहे हैं। देवी की भक्ति में लोग खो गए हैं। अंचल में पहाड़ों पर स्थित जतमई धाम एवं घटारानी आदि स्थलों पर भी बड़ी संख्या में श्रद्धालु पहुंच रहे हैं।