देवउठनी एकादशी पर खूब बिकी गन्ना ,गन्ना के मंडप बनाकर किया गया तुलसी विवाह
”संतोष सोनकर की रिपोर्ट”
राजिम । शहर सहित ग्रामीण अंचल में छोटी दीवाली देवउठनी एकादशी का पर्व हर्षोल्लास के साथ मनाया गया इस मौके पर गन्ना किसानों ने बड़ी संख्या में काट कर बिक्री के लिए शहर सहित गांव में भी ला कर रखे हुए थे ट्रैक्टर छोटा हाथी व बैलगाड़ी से लौटकर बड़ी संख्या में गन्ना बिक्री के लिए रखे हुए थे। 1 दिन पहले यानी गुरुवार को ही कहां पर दुकान लगाना है व्यवस्थित कर लिए थे सुबह होते ही लोग गन्ना खरीदने के लिए जैसे ही घर से निकले चौक चौराहे पर गन्ना की दुकानें देखती रही और लोग घर से बाहर निकल कर उन्हें खरीद भी रहे थे इनकी कीमत मोटाई देखकर रखे गए थे पतले गन्ना को ₹20 जोड़ी तथा मोटे गन्ना को 60 रुपया जोड़ी में बेच रहे थे जैसे उनकी मोटाई एवं लंबाई थी उनके हिसाब से उनकी कीमत रखी गई थी शहर के गरियाबंद मुख्य मार्ग एवं बस स्टैंड तथा महासमुंद रोड के किनारे बड़ी संख्या में गन्ना लेकर किसान पहुंचे हुए थे और सुबह से लेकर 10:00 बजे के बीच बड़ी संख्या में गन्ना बेच भी लिए उसके बाद शाम तक मंगाकर इन्हें बेचते रहे। बताना जरूरी है क्या अंचल में कई गांव में गन्ना की खेती होती है इनमें से बरोड़ा में इनकी खेती बड़ी संख्या में की जाती है छत्रपाल साहू एवं पवन साहू ने बताया कि इनकी खेती में लागत कम लगती है लेकिन फसल अच्छी हो जाए तो मुनाफा कई गुना बढ़ जाती है इस बार फसल अच्छी भी हुई है और बिक्री भी अच्छी हो रही है। इससे कोरोना काल में नुकसान हुआ है उनकी भरपाई लगभग हो जाएगी। वैसे भी आजकल गन्ने की मांग आने वाले गर्मी में बहुत ज्यादा बढ़ जाती है लोग अपने गले को तर करने के लिए गन्ने का रस का उपयोग करते हैं जिससे इनकी मांग हमेशा बनी रहती है। किसान यदि फसल चक्र परिवर्तन कर बदल बदल कर उपज प्राप्त करें तो निहायती उनकी आर्थिक स्थिति सुदृढ़ होगी। खैर देवउठनी एकादशी पर हुई बिक्री से यह किसान अत्यंत प्रसन्न दिखे। लोग गन्ना को खरीद कर तुलसी चौराहे पर रखकर मंडप बनाएं तथा पूजा अर्चना की। देवउठनी एकादशी के चलते भगवान विष्णु के राजीव लोचन मंदिर में श्रद्धालुओं की बड़ी भीड़ देखी गई सुबह से ही घंटियों की झंकार दूर तक सुनाई दे रही थी लोग भगवान की एक झलक पाने के लिए आतम दिखे वहीं दूसरी ओर पंडित विजय शर्मा और पुजारी महेंद्र सिंह ठाकुर ने बताया कि देवउठनी एकादशी के अवसर पर भगवान राजीवलोचन को तुलसी दल का माला पहनाया गया है जिससे उनकी शोभा और बढ़ गई है आज भगवान राजीवलोचन का छायाचित्र देखते ही बन रही थी। श्रद्धालु का भगवान राजीवलोचन की जय कारा लगा रहे थे और उनके प्रसाद प्राप्त कर रहे थे। कहना होगा कि यहां भगवान विष्णु के राजीव लोचन मुख्य मंदिर के अलावा इनके चारों कोण में स्थित वराह अवतार, वामन अवतार, नृसिंह अवतार, बद्रीनारायण अवतार के अलावा साक्षी गोपाल, जगन्नाथ महाप्रभु, लक्ष्मी नारायण मंदिर, भगवान का विराट स्वरूप, श्री देवनारायण मंदिर इत्यादि के दर्शन श्रद्धालु गण करते रहे।