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पहले दिन शहर के आत्मानंद स्कूल में पहुंचे 110 छात्र-छात्राएं

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“संतोष सोनकर की रिपोर्ट”

राजिम। शहर के स्वामी आत्मानंद उत्कृष्ट अंग्रेजी माध्यम पंडित रामविशाल पांडे उच्चतर माध्यमिक विद्यालय में आज एक सितंबर दिन गुरुवार को सात शिक्षकों के साथ कक्षाएं प्रारंभ हो गई। बच्चों में आत्मानंद स्कूल जाने की उत्साह स्पष्ट रूप से झलक रही थी। प्रथम दिन होने के कारण जल्दी से छुट्टी भी हो गए। शायद कल से व्यवस्था नॉर्मल हो जाएगी और दोपहर 12 से शाम 5:00 बजे तक लगातार चलेगी। पहले दिन से ही बच्चों की जिस ढंग से पढ़ाई होनी चाहिए थी वह नहीं हो पाई। पहले तो अलग-अलग क्लास में बिठाएं गए थे बाद में एक साथ बिठा दिए गए। वैसे यहां अंग्रेजी माध्यम के फिलाहाल 18 शिक्षक आने हैं जिनमें से मात्र 5 शिक्षक में एक संस्कृत, दो प्रयोगशाला, एक कंप्यूटर तथा एक सहायक शिक्षक है इनके अलावा व्यवस्था में 2 शिक्षक आए हुए हैं इस तरह से कुल 7 शिक्षकों के द्वारा आज की पढ़ाई शुरू हुई। जानकारी के मुताबिक 13 शिक्षक संविदा आधार पर भर्ती हुए हैं जिनमें से पांच आ गए हैं और आठ का आना बाकी है। इन्हें 15 तारीख तक जॉइनिंग का समय दिया गया है इस बीच में आकर शिक्षक अपनी उपस्थिति दर्ज करेंगे।बताया गया कि छात्र-छात्राओं की दर्ज संख्या 493 है जिनमें से मात्र आज प्रथम दिन 110 ही आए थे। बता दें कि कई छात्र-छात्राओं ने अभी तक पुस्तक नहीं ले गए हैं जिनके कारण पुस्तक वितरण कक्ष में पालकों की अच्छी खासी भीड़ देखी गई। सोमवार से यहां पुस्तक वितरण किया जा रहा है। पहली से लेकर 10वीं तक पुस्तक बांटी जा रही है। उल्लेखनीय है कि बोर्ड एग्जाम वालों को सबसे ज्यादा तैयारी करनी पड़ेगी। पांचवी, आठवीं, दसवीं, 12वीं बोर्ड परीक्षा है। वैसे भी छात्र छात्राएं पिछले एक महीने से टीसी लेकर स्कूल खोलने के इंतजार में घर में बैठे हुए थे इन्हें 1 महीने 04 दिन की पढ़ाई को कवर भी करना है इनके लिए शिक्षकों को कड़ी मेहनत करने पड़ेगी तो छात्रों को दिन और रात एक करना होगा तब कहीं जाकर सिलेबस पूर्ण कर पाएंगे। अलग-अलग स्कूल के यह छात्र छात्राएं अब आत्मानंद स्कूल में आने के बाद एक साथ पढ़ाई कर रहे हैं। पहले तो इन बच्चों को एक दूसरे को समझना होगा तथा पढ़ाई में सामंजस्य बनाना पड़ेगा। सबसे ज्यादा सहयोग एक दूसरे से ही मिलती है टीम वर्क के साथ कोर्स को कंप्लीट करने में सहायता मिलती है। प्रत्येक 3 माह में त्रैमासिक परीक्षा तथा 6 महीने में अर्धवार्षिक और साल भर में वार्षिक या फिर बोर्ड एग्जाम होते हैं जिनके आधार पर छात्रों का फेल पास होना होता है। जून-जुलाई अगस्त तीन महीने बीत चुके हैं। 3 महीने की पढ़ाई का आकलन के लिए त्रैमासिक परीक्षा भी लेना जरूरी है तब उनके पढ़ाई की समीक्षा भी होगी। बोर्ड के साथ-साथ अन्य परीक्षाओं पर भी शिक्षकों को ध्यान देना पड़ेगा। यहां पहली से लेकर 12वीं तक के लिए कक्षाएं संचालित हो रही है। कक्षा पहली से लेकर नवमीं तक लगभग 50- 50 के दर्ज संख्या में छात्र-छात्राएं हैं। बाकी कक्षाओं में दर्ज संख्या कम है। परंतु बच्चों की संख्या जितनी भी हो पीरियड तो पूरा होगा। सभी कक्षाएं लगेगी और सभी कक्षाओं में शिक्षकों को जाकर पढ़ाना भी है। पुस्तक लेने के लिए उपस्थित पालकों ने मांग करते हुए कहा कि प्रशासन शीघ्र बाकी के शिक्षकों का व्यवस्था करें हम जिला प्रशासन से गुहार लगाते हैं।

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